Category: सुप्रभात स्टेटस

  • उनके लिये सवेरे नहीं होते

    उनके लिये सवेरे नहीं होते, जो जिन्दगी में, कुछ भी पाने की उम्मीद छोड़ चुके हैं, उजाला तो उनका होता है, जो बार बार हारने के बाद, कुछ पाने की उम्मीद रखे हैं। ???सुप्रभात???

  • एक आपका दीदार सारे गमों

    ????????????।। हे कान्हा :~ एक आपका दीदार सारे गमों ।। को भुला देता है।। जिन्दगी को मेरी जिन्दगी ।। बना देता है।। रुठना मत कभी हमसे कान्हा ।। मना नही पायेंगे ।। आपकी वो कीमत है जिन्दगी। मे शायद हम अदा भी नही कर पायेगे।। ???????????? जय श्री राधे क्रष्ण सुप्रभात

  • संग्रह किए हुए ढेर सारे ज्ञान

    संग्रह किए हुए ढेर सारे ज्ञान की अपेक्षा, आचरण में उतरा हुआ रत्ती भर ज्ञान श्रेष्ठ है।। ? सुप्रभात ? ?????????

  • लगता था जिन्दगी को

    लगता था जिन्दगी को… बदलने में वक्त लगेगा… पर क्या पता था… बदला हुआ वक्त… जिन्दगी बदल देगा….! ​?​शुभ प्रभात​?​ ?????????

  • कश्तिया उन्ही की डूबती है

    कश्तिया उन्ही की डूबती है .. जिनके ईमान डगमगाते हैं !! जिनके दिल में नेकी होती है .. उनके आगे मंजिले भी सर झुकाती है !! इंसान अपना वो चेहरा तो खूब सजाता है जिस पर लोगों की नज़र होती है मगर आत्मा को सजाने की कोशिश कोई नही करता जिस पर परमात्मा की नजर…

  • पाप शरीर नही करता

    पाप शरीर नही करता “विचार” करते हैं …. ☝और☝ गंगा “विचारों” को नहीं “शरीर” को धोती है ! ?शुभ प्रभात ?

  • हालात सिखाते है बातें सुनना और सहना

    हालात सिखाते है,बातें सुनना और सहना !! वरना हर शक्स फितरत से बादशाह ही होता है !! अंधेरे मे जब हम दीया हाथ मे लेकर चलते है तो हमे यह भ्रम रहता है कि हम दीये को लेकर चल रहे है…. जबकि सच्चाई एकदम उल्टी है दीया हमे लेकर चल रहा होता है । ?☘…

  • जिन्दगीं को देखने का सबका

    जिन्दगीं को देखने का सबका अपना अपना नजरिया होता है कुछ लोग भावना में ही दिल की बात कह देते है, और… कुछ लोग गीता पर हाथ रख कर भी सच नहीं बोलते ? शुभ प्रभात ? ✍?✍?✍?✍?✍?✍?✍?✍?

  • कितना अपनापन होता है उन लोगों में

    कितना अपनापन होता है उन लोगों में जो हर दिन मैसेज भेजकर याद करते है । दूर रहकर भी रिश्तों की अहमियत हो समझते है और करीब होने का अहसास कराते है। उनके प्रति स्नेह और भी बढ़ जाता है जो हर रोज़ याद करके ये महसूस कराते है कि कोई हो या ना हो,…

  • पाँच तत्व का कोड है भगवान

    पाँच तत्व का कोड है भगवान जिससे यह ब्रह्माण्ड बना भ + ग + व + आ + न भूमि (धरती), गगन (आकाश), वायु (हवा), अग्नि (आग), नीर (पानी) क्या अब भी कोई है जिसने भगवान को देखा अथवा जाना नही..? अब अपने अन्दर झांक कर देखो भगवान नज़र भी आएगा और महसूस भी होगा…